अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ अब 3 अप्रैल को सुनवाई, दिल्ली हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत

अरविंद केजरीवाल को ईडी ने लगभग दो घंटे की पूछताछ के बाद 21 मार्च को उनके आधिकारिक आवास से गिरफ्तार किया था. कोर्ट ने ईडी को केजरीवाल की 22 मार्च की रात से 28 मार्च तक यानी छह दिनों की रिमांड दी थी. ईडी के पास कुल 14 दिनों की रिमांड का अधिकार है.

Mar 27, 2024 - 19:47
 0  7
अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ अब 3 अप्रैल को सुनवाई, दिल्ली हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत
अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ अब 3 अप्रैल को सुनवाई, दिल्ली हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत
अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ अब 3 अप्रैल को सुनवाई, दिल्ली हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत

शराब घोटाले मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को दिल्ली हाई कोर्ट से राहत नहीं मिली है. कोर्ट ने केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ ईडी को जवाब दाखिल करने के लिए 2 अप्रैल तक का समय दिया है. मामले में अगली सुनवाई अब 3 अप्रैल को होगी. केस की सुनवाई बुधवार सुबह शुरू हुई. अरविंद केजरीवाल को ईडी ने लगभग दो घंटे की पूछताछ के बाद 21 मार्च को उनके आधिकारिक आवास से गिरफ्तार किया था. दिल्ली शराब घोटाले में उन्हें राउज एवेन्यू कोर्ट ने 28 मार्च तक ईडी की हिरासत में भेज दिया था.

ईडी की ओर से गिरफ्तारी और कस्टडी को चुनौती देने वाली केजरीवाल की याचिका पर जस्टिस स्वर्णकांता शर्मा की अदालत ने नोटिस जारी कर ईडी से जवाब मांगा है. केजरीवाल की अंतरिम राहत की गुहार पर एजेंसी को 2 अप्रैल तक जवाब दाखिल करना होगा. अदालत अब 3 अप्रैल को मामले की सुनवाई करेगी.

केजरीवाल के वकीलों ने दिल्ली के मुख्यमंत्री की तत्काल रिहाई और मामले में तत्काल सुनवाई की मांग की थी. हालांकि ईडी ने तत्काल सुनवाई का विरोध किया था और केजरीवाल की एप्लीकेशन और रिट याचिका पर जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगा था. हाई कोर्ट ने बुधवार को ईडी को जवाब दाखिल करने के लिए 2 अप्रैल तक का समय दिया और मामले को 3 अप्रैल के लिए लिस्ट कर दिया.

ईडी की ओर से पेश हुए एएसजी एसवी राजू ने कहा कि उन्हें याचिका की प्रति कल ही दी गई थी और उन्हें एप्लीकेशन के साथ-साथ रिट याचिका में जवाब दाखिल करने के लिए समय चाहिए. अरविंद केजरीवाल ने अपनी गिरफ्तारी और रिमांड आदेश को हाई कोर्ट में चुनौती दी थी और हिरासत से तुरंत रिहाई की मांग की थी.

कोर्ट ने कहा कि किसी मामले की सुनवाई और फैसला करते समय अदालत प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों को ध्यान में रखते हुए दोनों पक्षों को निष्पक्ष रूप से सुनने के लिए बाध्य है. वर्तमान मामले पर निर्णय लेने के लिए ईडी का जवाब आवश्यक और महत्वपूर्ण है. हाई कोर्ट ने केजरीवाल की यह दलील खारिज कर दी कि ईडी के जवाब की जरूरत नहीं है.

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow